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तो शराब की जगाई कैसे अलख

-माया नवीन जोशी खटीमा, जिला-उधमसिंह नगर, उत्तराखंड सुंदर-सुकुमार सा वह, लिए कंधों में छोटा झोला। इतराते इठलाते बालक से एक रोज पिता यह बोला कि राशि, एक शिक्षा-शराब की तो फल दोनों का कैसे अलग-अलग ? शिक्षा ले जाती जब शीर्ष पर तो शराब की जगाई कैसे अलख? बोला सहसा ही वह सुकुमार पहले पढ़ने […]

हिंदी का अपमान न हो

-रामरतन यादव (सहायक अध्यापक) राजकीय आश्रम पद्धति उच्चतर माध्यमिक विद्यालय खटीमा ऊधम सिंह नगर उत्तराखंड हिंदी का अपमान न हो, मान होना चाहिए, हिंदी है हम हिंदी का, सम्मान होना चाहिए | अपनी भाषा अपनी बोली, दुनिया में बेजोड़ है, हिंदी का भी विश्व में, यशगान होना चाहिए | अपनी भाषा के बिना ,पहचान न […]

जीना सिखाया जिसने वो अंदाज पिताजी

जीना सिखाया जिसने वो अंदाज पिताजी, मेरी खुशी का सबसे बड़ा राज पिताजी। चलना सिखाया जिसने संस्कार भी दिए, ऐसे ही खुश मिजाज है वह मेरे पिताजी ।। बचपन से यूं खेले थे जवानी में पिताजी, हंसते हंसाते रहते कहानी से पिताजी, जब भी जाते मेले में लाते थे खिलौने, बचपन की वो यादें ही […]

कभी जब भी मेरे पापा ; मेरे नजदीक आते थे

कभी जब भी मेरे पापा ; मेरे नजदीक आते थे; पकड़के अंगुलियां पापा; मुझे चलना सिखाते थे| बहुत अद्भुत था वो बचपन; सुधा सा प्यार मिलता था; हमारी मांग पे पापा; हमें सब कुछ दिलाते थे||1|| पकड़ के हाथ आंगन में; झुलाते थे मेरे पापा; बिठा के अपने कंधे पर; घुमाते थे मेरे पापा| बताओ […]

क्या बन्दर थे हनुमान

एक नगर या गांव में एक से लेकर सैकड़ों तक बने हनुमान मन्दिरों में स्थापित हनुमान जी की मूर्तियों में सजे हनुमान जी के स्वरूप ने इस प्रश्न को यक्ष प्रश्न बनाकर रख दिया है कि हनुमान जी अपने वास्तविक रामायण पात्र रूप में क्या थे?| क्या वे एक बन्दर थे?,क्या वे एक आदि मानव […]