हमारी खुशियों के लिए
जो अपनी इच्छाओं को मार दे
वो होते हैं पापा।
फरमाइशों को हमारी
अपनी ही ख्वाहिश समझकर
जो मुकम्मल करार दे
वो होते हैं पापा।
हर विपरीत परिस्थितियों से लड़कर
हमारी जिंदगी को जो आसान बना दे
वो होते हैं पापा
दुनिया खुशहाल है आज मेरी
तो मेरे पापा से है।
दर्द में मुस्कुराने की एक कला
मुझमें मेरे पापा से है,
पापा! आपके होने से
हर काम मुकम्मल लगता है
कमी कभी किसी चीज की महसूस न होने देते हो
बेटी न कहकर मुझको अपना राजा बेटा कहते हो
चाहे कैसी भी कठिनाई हो साहस से आगे बढ़ते हो।
ये जो आप अपने कामों से हमको प्रेरित करते हो
मेरे असफल होने पर भी जो पूर्ण विश्वास रखते हो
परछाई बनकर मेरी, पापा साथ हमेशा रहते हैं।
-अंजलि सनवाल, लेक्स इंटरनेशनल स्कूल भीमताल