तुम न होते तो मेरा गम मुझे डुबो देता। कुरेद कर हर घड़ी जबरन मुझे ही खो देता।। ये आइना भी मैला हुआ जाता है फरेबी में। ये अक्स मेरा नहीं था जो वो मुझको देता।। ये जमाना भी महरूम है किसी मोहब्बत का। फिर कहो कैसे ये खुशी मुझको देता।। यूँ तो दरिया में […]
तुम न होते तो मेरा गम मुझे डुबो देता। कुरेद कर हर घड़ी जबरन मुझे ही खो देता।। ये आइना भी मैला हुआ जाता है फरेबी में। ये अक्स मेरा नहीं था जो वो मुझको देता।। ये जमाना भी महरूम है किसी मोहब्बत का। फिर कहो कैसे ये खुशी मुझको देता।। यूँ तो दरिया में […]