जब-जब पानी आता है, पत्ते, फूल खिलाता है। बरखा रानी आती है, रिमझिम पानी लाती है। पानी आता झर-झर, बादल गरजते गर-गर-गर। बिजली रानी चमकती है, लगता अच्छा नभ-मंडल। कभी आता ज्यादा पानी, कभी आता पानी कम। कभी कहीं पर बाढ़ बोलती कभी बोलता सूखापन। -अक्षया बिष्ट, कक्षा पांच जय अरिहंत इंटरनेशनल स्कूल