Category: कविता

तुम मेरे लिए महान थे

मुझको जीवन देने वाले तुम मेरे लिए महान थे खुद तपती धूप में चलते थे करते पथ मेरा आसान थे मुझे बालिका होने पर भी शिक्षा ऊंची दिलाने वाले हे पिता मेरे तुम भगवान थे पिता ही तो बच्चों का आसमान खुला सा होता है उसका हाथ रहे सिर पर तो राह आसान सा होता […]

अपने हित के लिए लड़ना सिखाया है

ऊगली पकड़ कर चलना सिखाया है, अपने हित के लिए लड़ना सिखाया है| मेरी छोटी से छोटी कामयाबी को भी आपने सेलीब्रेट किया है, आगे बढ़ने के लिए भी तो पापा आपने कितना मोटीवेट किया है| मम्मी की डाट से भी तो पापा आपने कितना बचाया है, कंधो पर बैठाकर अपने बचपन में हर रास्ता […]

पग पग साथ निभाया

पिताजी आपने परछाई बनकर, पग पग साथ निभाया। मैं तो था एक शून्य मात्र, मुझे पहचान दी और नाम दिया।। मैं था बस ढेर माटी का, मुझको आकार दिया। हर मोड़ पर मार्गदर्शित कर, मुझे एक पात्र बना दिया।। निश्चित ही माता ने जन्म दिया, लाड़ प्यार भी खूब किया। परंतु आपकी फटकार ने, मुझे […]

हाँ मेरे पिता मेरी परछाई हैं

जब सब साथ छोङ जाए तो मेरे साथ रहने वाली तन्हाई हैं हाँ मेरे पिता मेरी परछाई है दूसरों के लिए हमेशा तत्पर रहने वाली मेरे अंदर छुपी मेरी अच्छाई हैं हाँ मेरे पिता मेरी परछाई है दुनिया की ठोकरों से गिरने पर मेरे जख्मों की दवाई हैं हाँ मेरे पिता मेरी परछाई है भटक […]

मन के सुमधुर गीतों की हो पिता झनकार तुम

ह्रदय स्पन्दन में तुम साँसों की आवाज तुम मन के सुमधुर गीतों की हो पिता झनकार तुम।। राह , प्रकाश पुँञ्ज तुम रीढ़ तुम स्तम्भ तुम तपित शिलाओं के बीच हो पिता शीत बौछार तुम।। भविष्य के सरताज तुम शान तुम जहान तुम डूबती नैय्या के हो पिता पतवार तुम।। रूह में घुली मिठास तुम […]

पिता:- “मेरे ईश्वर “

है पिता सर्वस्व, जीवन का महत्व न नाप सके कोई जैसे अंबर की ऊँचाई कुछ कुछ वैसी ही होती है पितृ-प्रेम की गहराई। है पिता जग का सार, अस्तित्व का है आधार नमक की भाँति है प्रकृति इनकी जो हो तो न हो आभास, न हो तो अधूरा रहे हर उल्लास। है पिता वो कुम्हार, […]

मेरे बाबू

पैदा तो मै भी कच्चिमीट्टि का खिलौना थी, मुझे इन्सान बनाने वाले तो मेरे बाबू है। मेरा हर शौक कब उनकी जरुरत बन गया, कमियों में जीना कब उनकी आदत बन गया। खुद फटी कमीज में रह कर, मुझे नया सूट दिलाने वाले मेरे बाबू हैं। उंगलियाँ पकड़ कर मुझे पहला कदम चलाया, ठोकर खाकर […]

मैं और मेरे पापा

सब कहते हैं, मैं सिर चढ़ी हूं, पर आप कहते हैं कि मैं आपकी परी हूं। कितनी भी बड़ी क्यों न हो जाउं पर आपके लिए तो वही जूही की कली हूं। आपका सदा बस स्टाॅप तक आना मम्मी के मना करने पर भी चाॅकलेट लाना। आत्मनिर्भर बनने का लेक्चर देकर फिर अकेले भेजने की […]

मेरे पिता है सामने ऐसा लगा मुझे

हर मुश्किलों मे ख़्वाब सुनहरा मिला मुझे, मेरे पिता है सामने ऐसा लगा मुझे ! उंगली पकड़ के हाथ की मेले में जब चले, हर- हर कदम पे एक खिलौना मिला मुझे! शफकत का हाथ सर पे मेरे जब से आ गया, छूता नहीं है कोई भी अब हादसा मुझे! भगवान के है रूप में […]

मेरी पहचान पापा आपने ही बनाई है

यू तो माँ मुझे दुनिया में लायी है, पर मेरी पहचान पापा आपने ही बनाई हैं। कोई खुश हुआ हो या न मेरे पैदा होने से, पर मेरी हर खुशी पर मुस्कुराहट आपके चेहरे पर भी आई हैं। ऊँगली पकड़ कर चलना सिखाया हैं, जिंदगी की हर मुश्किल में बनकर मेरा साया आपने ही मुझे […]